आँख मूँद कुछ क्षणों को, सुस्ताना चाहता हूँ...! आँख मूँद कुछ क्षणों को, सुस्ताना चाहता हूँ...!
जून इक्कीस थकान में बीती , पलकें पूरी नींद में भीगी। जून इक्कीस थकान में बीती , पलकें पूरी नींद में भीगी।