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एक रूपया

एक रूपया

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हर ज़िद का जवाब

एक रुपया


मदारी का खेल

एक रुपया

झूला धकेल

एक रुपया


गोला चाहे लाल

एक रुपया

बुढ़िया के बाल

एक रुपया


क्या बाजार जाना

एक रुपया

कुछ भी मंगाना

एक रुपया


मुझ को मनाना

एक रुपया

मेरा खजाना

एक रुपया


मेरी किस्मत कमाल

एक रुपया

चाहे गुल्लक में डाल

एक रुपया


चाहे मुझसे ले लो

अनेक रुपया

लौटा दो वो वक़्त 

मेरा वो एक रुपया


वो भी क्या दिन थे

बचपन के

एक रुपया बहुत था

अमीरी के लिए


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