यूँ तो मैं पेशे से एक बैंक कर्मचारी हूँ, लेकिन मन से सदैव हि एक कवि रहा हूँ।
मेरि हैसियत मेरा वजूद तुझ्से है, और क्या हो सकूँगा सिवा तेरे। मेरि हैसियत मेरा वजूद तुझ्से है, और क्या हो सकूँगा सिवा तेरे।
ये बारिश अक्सर होती है, बस इसीलिए तो लिखता हूँ। मन कि पीड़ा कम होती है, ये बारिश अक्सर होती है, बस इसीलिए तो लिखता हूँ। मन कि पीड़ा कम होती है,
मज़हबी जवाबों वाले सियासी सवाल रहने दो, मज़हबी जवाबों वाले सियासी सवाल रहने दो,