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Pallabi Bhuyan

Children Stories

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Pallabi Bhuyan

Children Stories

-होली के रंग अपनो के संग

-होली के रंग अपनो के संग

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होली आई है।

नन्हें मुंह के चेहरे पर खुशियां है आई.

मौसम ने ली है अंगड़ाई।

शीत ऋतु की हो रही है विदाई

ग्रीष्म ऋतु की आहट है आई।

सूरत की किरणों ने उष्णता है दिखाई,

होली आई है आई ।

होली ने कर दी है अनबन की सफाई

जिसने दी है प्रेम की जड़ी की गहराई।

रंगों का त्योहार है होली

खुशियों की बौछार है होली

लाल गुलावी पीले देखो।

पिचकारी भर -भर ले आते

इक दूजे पर सभी चलाते।

होली पर अब.ऐसा हाल 

हर चेहरे पर आज गुलाल।

आऔ यारों इसी बहाने

दुश्मन को भी चलो मनाने।

नफरत के सब मिटा दो रंग

प्यार को जगा कर नई उमंग।

खेलों सब खुशियों के संग

आऔ मिलकर खेलों होली

सब एक दूज के संग।


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