दया माया कहां चली गई तेरी.. मत भाग कौड़ी की माया के पीछे...प्राश्चित भी नही मिलेगा तुझे. दया माया कहां चली गई तेरी.. मत भाग कौड़ी की माया के पीछे...प्राश्चित भी नही मिलेग...