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DHIRAJ LAL G RAJANI

Others

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DHIRAJ LAL G RAJANI

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सुबह से

सुबह से

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सुबह से नेट में नमी सी है

आज फिर वाट्सएप की कमी सी है ।


नेट करवा दो हमे के मैसेज मिले

फेसबुक कुछ दिन से थमा सा है ।


एक मैसेज रहता नहीं कहीं टिक कर

इसकी आदत भी आदमी सी है।


कोई रिश्ता नहीं है फिर भी

एक लाइक लाजमी सी है।



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