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pooja sood

Others

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अनमोल रत्न। - बेटी

अनमोल रत्न। - बेटी

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दुनिया का अनमोल रत्न ,

बेटी के रूप में मैंने पाया,

पाकर इसको मन हर्षाया।


मन में फिर ये ख्याल आया,

भगवान ने ये कैसा रूप बनाया।


पहले बेटी ,फिर पत्नी ,फिर मां बनेगी,

सारे घर का बोझ रहेगी।

बोझ सहने पर भी , सबको बोझ लगेगी।


कन्या रूप में पूजी जायगी,

रानी बनकर मेरे घर में राज करेगी,

पर लक्ष्मी किसी और के घर की बनेगी।


अनेकों रूप वह धारण करेगी,

पर अपना वजूद ना पहचानेगी।


आज प्रण ये मैंने ठाना है

बेटी का वजूद बनाना है,

उसे उसकी शक्ति का अहसास दिलाना है,

मां होने का फर्ज निभाना है।


क्योंकि .....….............

दुनिया का अनमोल रत्न,

बेटी के रूप में मैंने पाया है,

पाकर इसको मन हर्षाया है।



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