कब अइहे साजन मोर निहारी रोज रहिया गाल गुलबी भइल उड़े गुलाल गगनवा हो सईया ले गईले ना हमके गवनवा ना... कब अइहे साजन मोर निहारी रोज रहिया गाल गुलबी भइल उड़े गुलाल गगनवा हो सईया ले ग...