STORYMIRROR

पूरक प्रकृति गुलाबी जिंदगी शराब देह तृष्णा आध्यात्मिक भिक्षु सतत् ही स्नेह निराला नाता आसमां मां ने लगाया प्रभु ने सांस झूकाकर अद्भूत भव सागर भक्तिरस शीशा चाहेकष्टअपार।हरसंकटमेंसाथहो जुदाहोकरमिलनेकावादाकरो/इकरारआनेकाज्यादाकरो.मुहब्बतमेंजीनेकायेहीचलनहै/बनोश्याममेरानामराधाधरो ड़ूब मानव देह

Hindi देह Quotes