परिश्रम करे बिना नही मिलेगी सफलता नही मिलेगी बंदे तुम्हे उस ईश्वर से भीख कड़ी परिश्रम से मिलेगी सफलता अगर नही मिली तो असफलता से ले सीख
उलझे टूटे रिश्ते को सुलझाने की बात कराती है चाय इंतिजार करने से कराने से प्यार और बढ़ाती है चाय दो नए रिश्ते की शुरुआत कराती है यही हमारी चाय अदीबा/क़ातिब को जगाती और नींद भगाती है चाय
☕☕ कोई प्यार से बुलाये तो हमे ☕☕☕यक़ीन करो हम आ जायेंगे । ☕☕ बस एक कप चाय के लिए ☕☕☕ तेरा मेहमान ही बन जायेंगे । ©® प्रेमयाद कुमार नवीन
चाँद तारे तोड़ लाने की बात करना यार इश्क में फ़िजूल है बेवफ़ा से बावफ़ा करते करते चलो यही तो इश्क-ए–उसूल है
भरे बज़्म में आंसू का चंद कतरा जो मैं चाह कर भी ना रोक पाया जिनके लिए लिखा था शे'र हमने वही अल्फाज़ दरिया बन कर डुबाया