मैं कौन हूँ पता नही। अब खुद को ढूंढ़ रहा हूँ।
ज़िंदगी तुझसे शिक़ायत सी होने लगी है। पर मुझे पता ही नही है, तेरी शिक़ायत किससे करूँ। @बातें होनी चाहिए Batenhonichahiye@gmail.com