छीन लिया कुम्हार से अंदर और बाहर थाप लगाने का अधिकार,
अब कहते को कि बर्तन सबसे सबसे सुंदर बनना चहिए।
अभी भी समय है शिक्षक की छड़ी लौटा दो,
वो इंसान बनायेंगे, बलात्कारी और दरिंदे नहीं।
"कैसे हो "?
शब्द में जितनी बड़ी औपचारिकता होती है
"अच्छा हूं"
मे भी कभी कभी बहुत बड़ा झूठ छिपा होता हैं।
शोहरतें जिनकी वजह
से दोस्त दुश्मन हो गए ,
सब यही रह जाएगी
मैं साथ क्या ले जाऊँगा .
कोशिशें मुझको मिटाने की भले हों कामयाब
मिटते - मिटते भी मैं मिटने का मजा ले जाऊँगा
कभी अपने दिल के पास रहने वालो से बहस इतनी मत करना की बहस जीत जाओ और उसके बदले रिश्ते को गवा दो।
Apno ke Liye Likhna Chahte hai Kuch Khash,
Dil me hai Unse Jude Rishte ke liye khas Jagah,
But Chahkar Bhi Bayan Nhi Kar Paa rhe hai,
Ye Kambakht Kalam bhi Hamara Sath nhi De rhi.
Samajhne Walo Ke Liye Jindagi Hai Dosti
Nasamjh Ke Liye Kuchh Nahi Hai Dosti
उदास चेहरों पर ख़ुशी ला सके
हमे इस काबिल बना दे मेरे मौला