रुलाकर मनाने का जो हुनर रखता है वो भाई है
रुलाकर जो खुद रो पड़े वो बहन है।
जि़क्र तेरा हर लफ्ज़ में करूंगी, मोहब्बत जो करती हूं तुझसे, पर बेफिक्र रह, तेरा नाम कतई न लूंगी।
दोस्तों के नाम का ख़त लिए घूम रही थी, लोगों ने पूछा इत्र का नाम क्या है।
जीवन से बड़ा कोई गुरू नहीं,हर दिन इसका एक नया पाठ है,हर चुनौती इसकी ,एक सबक है हर समस्या में ही हैं समाधान।
जीवन के हर रंग देखें,देखा उतार चढ़ाव, खुशी के देखें कुछ पल और मन के थे कुछ घाव, हंस कर सब सह लिया क्योंकि साथ में था परिवार।।
अभीभूत अमित हूँ पा कर स्नेह।
आभार आप का अकूत स्नेह।।