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Share with friendsउम्र बढ़ने के साथ समझ आता है कि मन की शांति, सुकून भरा जीवन किसी जुनून, नए विचार और एक के बाद एक लक्ष्यों से बहुत बढ़कर है। इसीलिए मेरी उम्र बढ़ नहीं रही।
उम्र बढ़ने के साथ समझ आता है कि मन की शांति, सुकून भरा जीवन किसी जुनून, नए विचार और एक के बाद एक लक्ष्यों से बहुत बढ़कर है। इसीलिए मेरी उम्र बढ़ नहीं रही।
करोड़ों रुपए होने का अहंकार बड़ा है, उससे भी बड़ा है करोड़ रुपए छोड़ने का अहंकार। तब कहते हैं, करोड़ को रोड पर फेंक दिया।
कभी-कभी किसी चैप्टर के कुछ पन्नों को पढ़कर ही चैप्टर बंद कर देना, किताब के लिए ठीक रहता है। खास तौर पर तब, जब उस किताब का नाम ज़िंदगी हो।