किस्मत
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किस्मत के भरोसे मत बैठो,
कर्म में रखो तुम विश्वास ।
फल की चिंता मत करो,
कर्म से बनेगी बिगड़ी बात।
ईश्वर साहू
सर्दियों का कर अंत
आया वसंत,
मुस्कुरा दो मिलेगा यहां खुशियां अनंत।
सुकून मिलती है बंदगी से,
वरना कौन परेशान नहीं है जिंदगी से।
परोपकार के लिए जीने और मरने का सौभाग्य केवल संस्कार वालो को प्राप्त होता हैं।
आओ समय रहते जागे,
अपने घमंड भाव को त्यागे।
धन दौलत पर मत कर इतना अभिमान,
एक दिन सबको जाना है शमशान।
चेहरे पर मत कर इतना गुमान,
मिट्टी मे मिल जायेगी एक दिन तेरी शान।
सुकरात हंसते हंसते विष पी गया, पर सत्य के लिए अडिग रहे। असत्य का किया विरोध, पर सत्य ही कहे।
सुकून मिलती हैं बंदगी से,
वरना कौन परेशान नहीं है जिंदगी से।