मेरा नाम रितेश मौर्य है। मैं उत्तर प्रदेश का रहने वाला हूं। मैं पेशे से रसायन अभियंत्रण विभाग के प्रथम वर्ष का विद्यार्थी हूं
"छोड़ दो अब ये नारे–वारे, सब मिल हुंकार भरो, आ रहे रघुवीर अपने धाम, सब मिल उन्हें प्रणाम करो।।"
इश्क की राह में यू हदें गुजर मत जाना , घड़े हो कच्चे तो यू इश्क की दरिया में उतर मत जाना ।।