साथी वो है जो मशरूफ़िय में भी
गुफ्तगू करें।।
साथी वो है जो मशरूफ़िय में भी
गुफ्तगू करें।।
ना हिन्दू
ना मुसलमान बनना है
इंसान है,हमें
इंसान रहना है।।
ना हिन्दू
ना मुसलमान बनना है
इंसान है,हमें
इंसान रहना है।।
नारी से अभिमान हैं
नारी से स्वभिमान
नारी से गण
नारी से जान।
नारी से अभिमान हैं
नारी से स्वभिमान
नारी से गण
नारी से जान।
मोहब्बत के इंतज़ार में एक अर्सा हो गया
कुछ नहीं हुआ इनंसानियत का बहुत खर्जा हो गया
मोहब्बत के इंतज़ार में एक अर्सा हो गया
कुछ नहीं हुआ इनंसानियत का बहुत खर्जा हो गया
हिन्दुस्तान सबसे अव्वल हैं
हिन्दुस्तान दुनिया का महल हैं।