Sadhna Jain

8
Posts
1
Followers
0
Following

विचारो को शब्द देना चाहती हूँ

Share with friends
Earned badges
See all

विचारों के अथाह सागर में...डुबकीयाँ लगा रहे थे हम, तभी ..... कानों में बुदबुदाई भावनाऐं .. कहाँ छोड़े जारहे थे हमें ! बिना मेरे स्पर्श के ज़ंजीरें बनते देखे... विचारों को भी !!

झुक जाते हैं सर जब समर्पण में , सिमट जाती हैं शिकायेते भी तब अपनापन में ! साधना

अपने साँसों पर अंकुश नही होता और चाहत ..... ग़ैरों पर अंकुश रखने की होती है ! साधना

बुदबुदाते होंठों पर अकसर शिकायतें ख़ंजर होती हैं, पर...... शिकायतें ख़ंजर के निशाने दिल अपना ही होता है ! ध्यान रखे ! साधना

गुज़ार लो कुछ पल... अपने साथ ऐ ज़िन्दगी नही तो ढुढंते रह जाओगे खुद को ......,. दुसरो के मुस्कुराहटों मे... अपने को ऐ ज़िन्दगी ! साधना जैन

वक़्त की मार हौसलों को तोड देता है... ज़रूर, पर ........... शब्दों की मार तो रिश्तों को तोड देता है!

काश ..सोच पकड़ लेते काश.. शब्द पकड लेते, तब..रिश्ते❤️ नही होते पकड़ने ! साधना जैन

हर बात हम कह नही पाते, चाहते है, काश वह समझ जाते ! ज़िन्दगी की धूप छांव मे अनकहे हसरतों को भी देख जाते ! बारिश का मौसम और हो मकई के भुटटे का साथ 😜😜


Feed

Library

Write

Notification
Profile