तुझसे दोस्ती रही "वंदें", किसी से दुश्मनी न हुई मेरी....
जश्ने -तबाही तेरे चाहत से हुई मेरी.
फरेबी दुनिया है हर कदम संभलो,
पग पग पर तैयार हैं फंदें....
ये अपनों की महफ़िल है,
बगैर गुनाह सजा मुकर्रर है "वंदे " .
रहा तू मेरा अपना, तेरी हरकत रही गैराऩा.....
कशमकश में हूं "वंदे" ये दुश्मनी है या याराना.
नेकियां मिली की किसी का रहनुमा बने
इंसान...
बदनेकियां कर "वंदे" खुद को खुदा समझ बैठे नादांन.