बदली
बदली
बहुत खास रहा है मेरे लिए यह साल। साल की शुरुआत में मैंने खुद से बहुत सारे संकल्प किए थे। परंतु, सिर्फ 75 परसेंट ही हो पाया। इस साल मैं मिला अपनी जिंदगी के उन रंगों से जिन रंगों में मैं अपनी उम्र गुजार देना चाहता हूं। मुझे किसी से प्यार हो गया है। वह प्यार जिसे करने वाले सुकून का नाम देते हैं और समाज वाले एक विद्यार्थी की भूल। हां मैं एक स्कूल जाने वाला विद्यार्थी हूं। लेकिन ऐसा बिल्कुल नहीं है कि यह मेरा प्यार एक भूल है। उसके कारण मेरे अंदर बहुत सारे बदलाव आए हैं।
वह मेरे दिल की बंजर जमीन पर गर्मी की छुट्टियों में अपने कदम रखी थी। उस वक्त मैं उससे बहुत कमजोर था। मुझे लगता था कि वह मुझसे काफी आगे है पढ़ाई में। जब उसने मुझसे दोस्ती की तो उसी समय मैंने ठाना था कि वह दिन मैं लाऊंगा जब मैं खुद को उससे काफी ऊपर पाऊंगा। शुरुआत के दिनों में वह मुझे महत्व नहीं देती थी। मुझे बहुत कचोटता था। लेकिन धीरे-धीरे मैं खुद को उसके काबिल बनाता चला गया। आज हमारे बीच बहुत गहरा प्यार है। इतना गहरा की उदासी की मोती अगर गहराई में गिर जाए तो मिलना नामुमकिन है। उसके बिना एक अधूरी जान हूं मैं। हम दोनों मिलकर ना जाने कितने ख्वाब भी देखे हैं। हम दोनों चाहते हैं कि कॉलेज के दिनों में हम लिव-इन रिलेशन में रहे।
मुझे नहीं पता कि लोग, यह समाज इश्क-मोहब्बत को गलत नजरिए से क्यों देखते हैं। पर मुझे पता है कि मेरी उम्र कच्ची हो सकती है पर मेरा प्यार नहीं। यह दिल बुद्धू होता है शायद। हमारे साथ कुछ ऐसा हुआ था ट्यूशन में-हम दोनों अपने बेंच पर अपना अपना दिल रखकर बैठे थे और छुट्टी में जल्दी-जल्दी के कारण हमारे दिल गलती से बदली हो गया। और वह बदला हुआ दिल सीने में इतने अच्छे से अपना घर बना लिया कि अब निकलना नामुमकिन है। यहां तक कि अब वह मानने को भी राजी नहीं हो सकता कि यह दिल किसी दूसरे का है। उसी ने सिखाया मुझे प्यार करना, उसी ने बताया मुझे प्यार का मतलब। हम खुद को सबसे यूनिक समझते हैं क्योंकि हम किसी भी गलतफहमी को आने ही नहीं देते। बहुत सारी गलतफहमी हुई है हमारे बीच। पर हम उसे बिना सुलझाए रह ही नहीं पाते और सुलझाने के बाद हम खुद को रोक नहीं पाते एक दूसरे के होने से। मुझे पूरा विश्वास है कि यह हंसी हंसीन सारी जिंदगी मेरे साथ चलेगी।