न्यू वैलेंटाइन
न्यू वैलेंटाइन
समुन्द्र के किनारे टहलती हुई अणिमा बहुत दूर तक निकल गयी थी।
कितने ही जोड़े आज वैलेंटाइन डे मनाने आये हुए थे। इस भीड़ में अणिमा को लगा जैसे वह एक नन्ही सी बच्ची है जो भीड़ में अपने अपनों से बिछड़ गयी है।
अचानक अंश की याद से उसका मुंह कसैला हो गया। आज से दो वर्ष पूर्व वह अंश से अलग हुई थी जब उसने उसके गर्भ में पल रही उसकी बेटी पाखी की गर्भ में ही हत्या करने की बात कही थी..उसके लाख मिन्नतें करने पर भी जब वह नहीं माना तो वह उससे अलग हो गयी थी।
अचानक अंश उसके सामने आया और घुटनों के बल बैठकर उसकी तरफ गुलाब का फूल बढ़ाते हुए बोला, “ हैप्पी वेलेंटाइन डे अणिमा “ वह अचकचा गयी, लेकिन दूसरे ही क्षण संभलते हुए बोली, ".तुम ?”
“ मुझसे बहुत बड़ी गल्ती हो गयी अणिमा, पुरानी गल्ती की क्षमा मांगते हुए मैं नये सिरे से तुम्हें प्रपोज कर रहा हूं। “ क्या तुम मेरी न्यू वेलेंटाइन बनोगी ?
अंश की आंखों में पश्चाताप के आंसू देखकर अणिमा ने अपना हाथ उसकी ओर बढ़ा दिया।