शहर को साफ़-सुथरा बनाना है
शहर को साफ़-सुथरा बनाना है
शहर पूरा भरा हुआ था | अलग-अलग गांव से आकर लोग बसे हुए थे शहर में | बड़े-बड़े अपार्टमेंट्स से पूरा शहर भरा हुआ था, जिसमे बड़े-बड़े कंपनियों में काम करने वाले लोग रहते थे | शहर के रास्ते जिसपे आम लोग चला करते थे उसके दोनों तरफ बड़ी-छोटी दुकाने लाइन से लगी हुई थी | सब तरह के दुकानदार थे कोई बड़ा व्यापारी था तो कोई छोटा व्यापारी | बड़े-बड़े ईमारत थे जिसमे बड़े व्यापारियों का दुकान था | वहीँ जो छोटे दुकानदार थे जैसे चाय बनाने वाले, जूता-चप्पल सिलने वाले मोची, फल बेचने वाले, सब्ज़ी बेचने वाले, इन सब की दुकाने रास्तों के दोनों तरफ छोटे-छोटे झोपड़ियों, तम्बुओं में बने हुए थे | फल और सब्ज़ी बेचने वाले दूकानदार रास्तों के दोनों तरफ ठेले लगा कर हीं अपना सामान बेचा करते थे और अपना जीवनी चलाया करते थे | शहर में बहुत गन्दगी थी | अपार्टमेंट में रहने वाले लोगो के यहाँ काम करने वाली नौकरानियाँ भी घर के गन्दगी को शहर के रास्तो पर हीं फेक जाया करती थी | दुकानवाले, फल, सब्ज़ीवाले भी अपने कूड़े-कचरे को रास्ते पर हीं फेक दिया करते थे | रास्तो पर गन्दगी जमा हो जाने का एक कारण ये भी था की सारे सरकारी सफाई कर्मचारी हड़ताल पर थे पिछले छह महीनो से अपने वेतन बढ़ने की मांग को ले कर | जिसके कारन जगह-जगह रास्तो पर गन्दगी का ढेर जमा हो गया था | अपार्टमेंट में रहने वाले स्थानीय लोग और कुछ बड़े व्यापारियों ने मिलकर योजना बनाई शहर को साफ़ करवाने की और साफ़-सुथरा से रहने की | इसके लिए छोटे व्यापारियों और रास्तो के दोनों तरफ बने छोटे दुकानवालों, फल और सब्ज़ीवालों से भी विचार-विमर्श किया गया | छोटे दुकानवालों ने साफ़-सफाई का ठेका उठाया और सफाई अभियान में बढ़-चढ़ कर हिस्सा लेने का समर्थन दिया | व्यापारियों के नेता ने बड़े नेता जी को बुलाया भाषण देने के लिए और छोटे दुकानदारों को साफ़-सफाई का महत्व बताने के लिए | नेता जी ने अपने भाषण में आश्वासन दिया की वो पुरे शहर को साफ़-सुथरा कर देंगे जब वो सरकार में आ जायेंगे | इसके लिए नेताजी ने लोगो को उनके लिए वोट देने के लिए कहा | सब लोग बहुत खुश हुए, छोटे व्यापारी और छोटे दुकानदारों ने, फलवालो ने, सब्ज़ियोवाले ने जोर-जोर से नेता जी का नारा लगाया और कहा की इस बार सब लोगो का वोट नेताजी को हीं मिलेगा | नेता जी के भाषण के बाद व्यापारियों के नेता ने भी भाषण दिया जिसमे उसने लोगो को नेता जी को वोट देने के लिए प्रेरित किया और सब लोगो को खाना खा कर ही जाने के लिए कहा | छोटे दुकानदार, फल, सब्ज़ीवाले सब लोग बहुत खुश हुए अपने नेता की उदार भावना को देख कर | सब लोगो ने अपना मन बना लिया थी नेता जी को वोट देने के लिए |
थोड़े दिन बाद इलेक्शन हुआ, वोटिंग हुई, और नेता जी जीत गए | जीतने के बाद नेता जी ने अपने वादे को याद करते हुए, प्रशाशन को आर्डर दिया की रास्तों पर के छोटे-छोटे दुकानों को, झोपड़ियों को, तम्बुओं को, ठेले को तोड़ दिया जाये और पुरे रास्ते को साफ़ कर दिया जाये | अगले दिन से बड़ी-बड़ी इमारत तोड़ने वाली मशीन शहर में घूमने लगी और सारे छोटे-छोटे दुकानों को तोड़ दिया गया, ठेले वालो को वहां से हटा दिया गया, सब गरीब लोगो को वहां से हटा दिया गया, बगैर नए जगह दिए हुए | इस तरह नेताजी ने शहर का सारा गन्दगी साफ़ करवा दिया |