गर्मी बहुत है
गर्मी बहुत है
गर्मी बहुत है
कूलर चलाने का
मेरा भी मन होता है
मगर क्या करू
स्तमाँ स्वास बढ़ने
का भी डर लगता है
तभी तो मौसम
हमे ठंड का नही
गर्मी का हमेशा
अच्छा लगता है
गर्मी मे खुले छत
मे मच्छर दानी
लगाकर सो जाओ
न कम्बल न पल्ली
की जरूरत पड़ती है
ठंडी हवा जब चलती है
मस्त मस्त लगती है'
ठंडी हवा जब तन
को स्पर्श करती है
मस्त नींद आती है
रात्रि अपनी बाँहों
के आगोश मे लेती है
अच्छी नींद आती है
सुबह सूर्य की किरणें
जब स्पर्श करती है
नींद खुल जाती है
गर्मी की राते बस
ऐसे ही कटती है
हमारे दिल को
सुकून देती है
हमे भाई गर्मी यो
अच्छी लगती है
पेड़ों की छाँव मे
दो पहरी भी कटती है ।