Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!
Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!

Nikhil Sharma

Others

3  

Nikhil Sharma

Others

विजयरथ

विजयरथ

1 min
7.0K


 

विजयरथ, प्रगतिपथ, खून से है लथपथ |
विजयगाथा लिख नई, कर मेहनत तू सतत् ||
मंजिल है जब एक, मन में क्यों है द्वेष |
देश तो है एक, क्या हुआ अलग जो है वेश ||
ईर्ष्या को तू अर्थ न दे, द्वंद की तू बात कर |
विजयतिलक उसी का है, जो बढे स्वार्थ त्याग कर ||
अंतर्मन में जो तू ज्ञानदीप जगा सके |
प्रकाश मन में वो करे, जो मन तमस हटा सके ||
वो महानता किस काम की, जो पौरुष न दिखा सके |
वो शक्ति भी व्यर्थ है, सहस जो न जुटा सके ||
तू है असीम, अनंत है, तेरी योग्यता प्रखर |
सवार हो तू विजयरथ पे, जीत विश्व का समर ||
जीत विश्व का समर ||


Rate this content
Log in