स्वच्छ भारत
स्वच्छ भारत
हैरान रह गया उसकी सोच देखकर
उसके विचारों की पहुँँच देखकर
लंबी कार में बैठी उसने
हरकत छोटी कर दी
उस पढ़ी लिखी हुई ने
अपने काम में अनपढ़ता भर दी।
सफाई रखने का भाषण देने वाली ने
अपनी बातों पर तमाचा टेक दिया
जब लालबत्ती पर खड़ी कार से
उसने कचरा बाहर फेंक दिया।
उसकी कार के पास खड़ा
एक छोटा बच्चा था
भीख मांग कर काम चलने वाला
एक देशप्रेमी सच्चा था।
भीख मांगना छोड़ कर
बच्चे ने कचरा उठा लिया
उस अमीर की फेंकी गन्दगी को
अपनी जेब में छुपा लिया।
यह सब देखकर
औरत की आँखों से पानी निकल गया
वह कुछ कह पाती
इससे पहले बच्चा वहाँ से निकल गया।
और अधिक शर्मसार हो गयी वह
उस बच्चे को देखकर
क्योंकि वह बच्चा खुश था
कचरे को कूड़ेदान में फेंककर।
क्या फायदा है पढ़ाई जब
काम अनपढ़ से भी बुरा करना है
क्यों लजाना लम्बी कार पर लगे तिरंगे को
जब छोटी हरकतों से शर्मसार करना है।