लड्डू और पिज़्ज़ा की लड़ाई कौन सर्वश्रेष्ठ
लड्डू और पिज़्ज़ा की लड़ाई कौन सर्वश्रेष्ठ
एक बार लड्डू और पिज्जा में झगड़ा हो गया। लड्डू बोला - "मैं सबसे मीठा हूँ, इसलिए सबका पसंदीदा हूँ!"
पिज्जा बोला - "मैं बहुत यम्मी-यम्मी हूँ, इसलिए सभी मुझे बहुत पसंद करते हैं!"
लड्डू ने कहा - "मेरे बिना कोई भी थाली पूरी नहीं होती!"
पिज्जा ने कहा - "मैं फास्ट-फूड की दुनिया में नंबर वन हूँ!"
लड्डू ने कहा - "मुझे देखकर सबके मुँह में पानी आ जाता है!"
पिज्जा बोला - "मेरे हर पीस में मसालों की भरमार है!"
लड्डू ने कहा - "मैं गोल-मटोल और बेहद सुंदर हूँ!"
पिज्जा बोला - "मैं भी गोल हूँ और आकर्षक भी!"
लड्डू ने कहा - "त्योहारों में मेरा खास महत्व है!"
पिज्जा ने कहा - "मुझे तो हर रोज़ सभी पसंद करते हैं!"
लड्डू बोला - "मुझ पर तो घी की बौछार होती है!"
पिज्जा बोला - "मुझ पर तो ढेर सारा चीज़ होता है!"
लड्डू ने कहा - "मुझे कई दिनों तक खाया जा सकता है!"
पिज्जा बोला - "छी! वो तो बासी कहलाएगा! मुझे तो सभी गर्मागर्म और ताजा ही पसंद करते हैं!"
लड्डू ने कहा - "मुझे खाकर सब ताकतवर बनते हैं!"
पिज्जा बोला - "मुझे खाकर सब खुश हो जाते हैं!"
इस तरह, दोनों की लड़ाई खत्म होने का नाम ही नहीं ले रही थी! तभी वहाँ मूषक आया।
लड्डू ने मूषक से कहा - "अच्छा हुआ मूषकराज, आप आ गए! इस पिज्जा को समझाइए! कब से मेरी बराबरी में उतरकर झूठी शान बघार रहा है! इसे मेरा महत्व समझाइए!"
मूषक कुछ बोल पाता उससे पहले पिज्जा ने भी कहा - "हाँ, मूषकराज! आप ही बताइए, ये लड्डू तो पुराना हो गया है ना? अब तो मेरा समय है! नया जमाना, नई डिश! बोलिए, मैं सही कह रहा हूँ ना?"
लड्डू ने कहा - "आप इसकी बातों में मत आइए, मूषकराज! आप तो..."
लड्डू की बात को काटते हुए मूषक ने कहा - "एक मिनट! तुम दोनों पहले शांत हो जाओ। इस लड़ाई का हल मैं दूं, उससे बेहतर है कि हम गणेशजी के पास चलें, वही तय करेंगे कि लड्डू बेहतर है या पिज्जा!"
"हाँ, हाँ, चलो गणेशजी के पास!" लड्डू और पिज्जा दोनों ने सहमति जताई।
दोनों को लेकर मूषक गणेशजी के पास पहुँचा। उसने गणेशजी से कहा - "दादा, इन दोनों के बीच लड़ाई हो गई है! लड्डू कहता है कि मैं बेहतर हूँ और पिज्जा कहता है कि मैं बेहतर हूँ!"
"अच्छा!" गणेशजी मुस्कुराए।
"हाँ, दादा! तो आप ही निर्णय कीजिए कि लड्डू बेहतर है या पिज्जा?" मूषक ने कहा।
कुछ पल तक गणेशजी ने बारी-बारी से लड्डू और पिज्जा की तरफ देखा, फिर बोले - "लड्डू मुझे बहुत प्रिय है! इसलिए लड्डू बेहतर है! लड्डू में गुण ही गुण हैं! वो भोजन भी है और प्रसाद भी बनता है! ऐसी कोई विशेषता पिज्जा में नहीं दिखती!"
मूषक ने कहा - "तो मतलब, लड्डू की जीत?"
"हाँ! लड्डू हर युग में नंबर वन है!" गणेशजी ने कहा।
यह सुनकर पिज्जा चुप हो गया!