कर्ता
कर्ता
"क्या हम विजेता बहन के प्रथम आने का कारण जान सकते हैं? महोदया।" 8 मार्च को अंतराष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित लेखन प्रतियोगिता का विषय महिला सशक्तिकरण रखा गया है जिसके प्रतिभागी आयोजकों से उत्सुकतावश यह पूछ रहे हैं।
"हाँ, हाँ क्यों नहीं , आप लोगों के और विजेता बहन के लेखन में वही अंतर है जो एक मैदान में खेल रहे खिलाड़ी और दर्शकदीर्घा में बैठे दर्शक में होता है। यह आप लोगों के लेखन की उपदेशात्मक शैली से स्पष्ट होता है। विजेता बहन ने मैं यह-यह करती हूं, लिखा है साथ ही सबूत के तौर पर यूट्यूब लिंक के माध्यम से अपनी गतिविधियों से अवगत भी कराया है। आप लोगों ने क्या- क्या करना चाहिए लिखा है। यानि आप स्वयं कुछ नहीं कर रहीं हैं।
वे महिला सशक्तिकरण की नींव का पत्थर बन उभरी हैं।
वास्तव में वे स्वयं महिला सशक्तिकरण को परिभाषित करती हैं।"