ड्रामा क्वीन
ड्रामा क्वीन
स्टंटमैन बहुत गुस्से में था । उसके गुस्से में होने से पूरी पार्टी में भूचाल आ जाता है । सारे "चमचे" एकत्रित होकर "हुआं हुआं" करने लगे और स्टंटमैन के सुर में सुर मिलाने लगे
"होश में आओ एल जी"
चमचे एक स्वर में चिल्लाये "हम पिलायेंगे तेल जी"
सारा खैराती मीडिया अपने काम में लगा हुआ था । इस डिमॉन्सेट्रशन का लाइव प्रसारण सभी खैराती चैनलों पर होने लगा । एक पत्तलकार ने दूसरे पत्तलकार से पूछा
"ये एल जी कौन है" ?
इस पर दूसरा पत्तलकार जोर,से बोला "साले, तुझे एल जी कौन है यही नहीं पता तो तू पत्तलकार कैसे बन गया" ?
पहला पत्तलकार बोला "मेरा बाप IRS है इसलिए बन गया । और तू बता , तू कैसे बना" ?
"मेरा बाप रिटायर्ड जनरल है इसलिए मैं भी पत्तलकार बन गया"
"पर ये एल जी के बारे में कभी सुना नहीं था । कौन है ये एल जी" ?
"सीधी सी बात है । ये स्टंटमैन इतना चिल्ला क्यों रहा है ? जाहिर है कि इसकी G में L लगे पड़े हैं इसलिए यह चिल्ला रहा है । जिसने इसकी G में L लगाये वही LG है" । कुटिल मुस्कान बिखेरते हुए वह बोला
"यार , ये LG और GL का लफड़ा समझ नहीं आया । थोड़ा खुलकर बताइए ना" ।
"अरे भाई, इस स्टंटमैन के घर यानि G में जिसने लठ्ठ यानि L गाड़ दिया वही एल जी है । अब समझ में आया ।
"अच्छा तो ये बात है । ये स्टंटमैन भी तो हर किसी के G में L ठोकता रहता है"
"यही तो बात है । इसका कहना है कि G में L ठोकने का काम मेरा है और सिर्फ मेरा ही है । मेरा काम एल जी कैसे कर सकता है" ?
"तो अब ये क्या करेगा" ?
"कोई नया स्टंट करेगा और क्या ? इसने आज तक स्टंट करने के अलावा और किया ही क्या है ? आज उसी की ट्रेनिंग और रिहर्सल के लिए ही तो हमें बुलाया गया है । सुना है कि इस स्टंट के लिए "ड्रामा क्वीन" को भी बुलवाया गया है" ।
"ये ड्रामा क्वीन कौन है" ?
"स्टंटमैन की साली है । इसने उसको महिला आयोग की अध्यक्ष बना दिया है । इसके कहने पर इस ड्रामा क्वीन ने अपनी पार्टी के सारे कार्यकर्ताओं को अवैध रूप से सरकारी नौकरी पर लगा दिया है । ये ड्रामा क्वीन इसकी पपेट है । इसके इशारों पर नाचती है"
"ड्रामा क्वीन ही क्यों ? पूरी पार्टी ही नाचती है इसके इशारों पर । और पार्टी ही क्यों , पूरा मीडिया जगत भी तो नाचता है" ।
"धीरे बोलो भैया , इसने सुन लिया तो अपनी नौकरी खा जायेगा यह । पर एक बात बताओ, ये स्टंट क्यों करना चाहता है" ?
"ये भ्रष्टाचार के आरोपों में बुरी तरह से घिरा हुआ है । ईमानदारी इसकी यूएसपी है और वही खतरे में पड़ गई है इसलिए उससे ध्यान हटाने के लिए यह तरह तरह के स्टंट करता रहता है"
"पर इससे क्या होगा" ?
"इन स्टंटों की बदौलत यह दिल्ली की कुर्सी पर बैठना चाहता है"
"पर ये तो अभी भी उस कुर्सी पर बैठा हुआ है ना ? फिर और कौन सी कुर्सी है दिल्ली की" ?
"कैसे कैसे भोंदू लोग पत्तलकार बन जाते हैं, पता चल रहा है । अरे पागल, ये अभी दिल्ली की एक छोटी सी कुर्सी पर बैठा है जबकि वह बड़ी कुर्सी यानि मोदी जी वाली कुर्सी पर बैठना चाहता है"
"फिर तो इसके लिए अभी दिल्ली दूर है" ।
"वो कैसे" ?
"अभी लोकसभा में इसके कितने सदस्य हैं" ?
"अभी तो एक भी सदस्य नहीं है"
वह पत्तलकार जोर से हंसा और बोला "मुंगेरीलाल के हसीन सपने" । ये मुंह और मसूर की दाल" ?
ये बात किसी चमचे ने सुन ली और स्टंटमैन को कह दी । बस फिर क्या था , हंगामा मच गया । चैनल का मालिक नाक रगड़ता हुआ वहां आया और सीधे ही स्टंटमैन के चरणों में लोट गया ।
"हमसे क्या गलती हो गई हुजूर ? आप जो चाहे गाली दे दो । पिछवाड़े पर लात मार लो पर पेट पे लात मत मारना । एक निवेदन है , विज्ञापन बंद मत करना और चाहे कुछ भी कर लेना"
"ठीक है । अभी इस पत्तलकार को नौकरी से निकालो और किसी ऐसे पत्तलकार को यहां लगाओ जो केवल मेरा यसमैन हों"
"जो आज्ञा हुजूर ! और कोई आदेश" ?
"हां, अभी हमारी ड्रामा क्वीन आ रही हैं । आज रात को तीन बजे वे दिल्ली की सड़कों पर एक स्टंट करेंगी । आप खुद खड़े रहकर उसकी विडियोग्राफी करवा कर उसे लाइव दिखायेंगे अपने चैनल पर । समझ गये आप" ? स्टंटमैन उसे आंखें दिखाते हुए बोला "हम लोकतंत्र खतरे में हैं । अभिव्यक्ति की आजादी छीन ली गई है । गोदी मीडिया हमें बोलने नहीं देता है, इसको दिन भर चलाते रहो"
"अच्छी तरह समझ गया माई बाप । जब सामने पैसा दिखता हो तो हर चीज बहुत अच्छी तरह से समझ में आ जाती है, हुजूर" । चैनल का मालिक दंडवत करते हुए बोला ।
इतने में ड्रामा क्वीन आ गईं । स्टंटमैन अपनी टीम को आज के स्टंट के बारे में समझाने लगा । ड्रामा क्वीन को एक एक डॉयलाग लिखकर दिया गया । कार वाले से क्या बोलना है ? कब उसे ड्राइवर की साइड आना है ? कार की चाबी निकालने के लिए कब कार के अंदर हाथ डालना है ? कब और कैसे चिल्लाना है ? और मीडिया को क्या बयान देना है । सारा काम सबको भली भांति समझा दिया गया । मीडिया पर्सन्स को भी उनकी भूमिका बता दी गई कि उन्हें कब और कौन सा सीन न्यूज चैनल्स पर हाईलाइट करना है । ड्रामा क्वीन से कौन कौन से सवाल करने हैं और स्टंटमैन से भी कौन कौन से सवाल करने हैं । सबको सवालों की एक एक कॉपी दे दी गई । इसी तरह पार्टी वर्कर्स को भी उनका रोल समझा दिया गया । विशेषकर कार चालक के रूप में रोल करने वाले "चमचे" को ।
इस स्टंट की खूब रिहर्सल की गई और रात को तीन बजे इसे दिल्ली की सुनसान सड़कों पर शूट किया गया और मीडिया को वहीं पर बाइट दे दी गई ।
रात को तीन बजे से ड्रामा क्वीन सभी चैनलों पर छा रही थी । वह रोते रोते कह रही थी "रात को मेरे साथ कुछ गुंडों ने बदसलूकी की । मुझे कांझावाला केस की तरह घसीट कर मारने की कोशिश की गई थी । मुझे 15 मीटर घसीटा गया ।खुदा की मेहरबानी से मैं बच गई वरना मैं भी अंजली की तरह मारी जाती । क्या कर रहे हैं एल जी ? जवाब दें एल जी ? महिला सुरक्षा के लिए वे क्या कर रहे हैं" ?
सभी खैराती चैनल्स पर 24 घंटों वाली डिबेट शुरू हो गई । उधर स्टंटमैन के घर पर इस शानदार स्टंट और ड्रामा क्वीन के हाई वोल्टेज ड्रामे पर दारू पार्टी चलने लगी ।