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Dinesh Dubey

Inspirational

4  

Dinesh Dubey

Inspirational

तलास सुकून की

तलास सुकून की

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सुकून की तालाश में ,

भटक रहे सारा जहां,

कभी जंगल में तो कभी,

पहाड़ियों की गोद में।

कभी तलासते दूर समुद्र,

की गहराई में भटकते ,

पर कभी खुद में झांक,

खुद की गहराई नही देखते ।

मन के सब भ्रम निकाल दे,

खुद के मन में झांक ले ,

वहां से बढ़कर कहीं भी ,

कोई सुकून मिलता नही।



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