रंगमंच
रंगमंच
संसार हम सभी के लिए है रंगमंच के समान।
ज्ञान से भरे विद्वान हम में भी भर रहे जान।।
बचपन से ही सुनते आ रहे हैं ज़रा दीजिए ध्यान।
निरंतर करने वाला अभ्यास ही दिलाएगा सम्मान।।
क्या सही और क्या है गलत।
हम सभी को अच्छे से समझ आता।।
पर शरारती मन डांवाडोल हो जाता।
समय निकल जाने पर दिल पछताता।।
अपनों से ही कभी-कभी हो जाती है तकरार।
किंतु स्नेह बना रहता है फिर भी बरकरार।।
कभी नहीं टूटने चाहिए प्रेम भरे तार।
मुसकुराते हुए ही खोला कीजिए द्वार।।
माना कि हम सभी को सांसारिक रोल अदा करना है।
जीवन भर नेक तथा नए कार्यों संग ही आगे बढ़ना है।।
अपने ही दिल को समझाते हुए न किसी से गिला करना है।
रंगमंच पर हँसते-खिलखिलाते हुए बेस्ट रोल अदा करना है।।