प्यार तो प्यार है
प्यार तो प्यार है
प्यार तो प्यार है
न ही ये रूप, ना ही रंग
न इकरार, ना इनकार है।
रूह की चीज को न
देह से जोड़ देना
नही इसका कोई
इससे है लेना-देना
आँखों की भाषा है
मौन ही इसकी जुबाँ
बस पलकों का सहारा
बनता इजहार है।
ये जरूरी नही कि
वो आ ही जायें पर
फिर भी दिल को है
रहता उनका इंतजार है।
कोरे खत भी सांस बिन
पढ़ जाते, चंदा जी संग
सन्देशा भी भिजवाते
कहते हमको तो उन
पर ही एेतबार है
प्यार तो बस प्यार है।