मौसम
मौसम
अलबेले इस मौसम में
जो संग हो,
हम और तुम
कुछ ऐसा कह न देना
कानों में गुमसुम।
बूंदों की रिमझिम हो
फूलों की हो महक
ऐसे ये बहके मन
पागल हो गये हम।
सागर की लहर ये
छुये तन बदन
धूप में मिली जैसे
आँचल की ठंडी पवन।
अलबेले इस मौसम में
जो संग हो,
हम और तुम
कुछ ऐसा कह न देना
कानों में गुमसुम।
बूंदों की रिमझिम हो
फूलों की हो महक
ऐसे ये बहके मन
पागल हो गये हम।
सागर की लहर ये
छुये तन बदन
धूप में मिली जैसे
आँचल की ठंडी पवन।