जब मन उदास हो
जब मन उदास हो
अक्सर ऐसा होता है
कि ये मन उदास होता है।
कोई वजह भी नहीं होती
किसी की आस भी नहीं होती।
पर दिल को करार नहीं होता है
वो तो बस बेकरार होता है।
फिर किसी की याद के कुछ रेशमी
कतरे,आके दिल को सहला जाते हैं।
ओंठ बरबस मुस्करा जाते हैं,
दिल को सुकून दिए जाते हैं।
कई दफा,एक कड़क चाय की प्याली
ही बिगड़े मूड को संवार जाती है।
कभी, दिलबर के आने भर की सूचना
बैचेन दिल को गुलजार कर जाती है।
होता अक्सर भी कई बार ऐसा है
एक बदली भी उदासी दूर कर दे।
मन के सूखे,रेतीले बवंडर को
भिगो को ये भी कुछ नरम कर दे।
उदासी से कभी भी तुम न डरो,
इसकी उम्र लंबी नहीं होती है।
खुशी,उदासी ये तो जीवन की
बहुत महत्वपूर्ण कड़ी होती हैं।
कभी बेवजह ये दिल खुश होता
कभी बिन बात ये उदास होता।
क्यों जान देता इन छोटी छोटी बातों पर
तेरे,मेरे,ये, सबके साथ होता।