हमेशा याद रखते हैं
हमेशा याद रखते हैं
माना आज मेरी जेब है खाली
इसमें एक पैसा भी नहीं
फिर भी दिल है इतना बड़ा कि
लोगो को ख़ुशियाँ दे सकते है
दुआएँ इतनी ले लेते है ज़माने की
कि वो ही हम बाँट देते है
अपने अच्छे कर्मों से ही दिल हम
सबका जीत हम लेते है
माया तो आनी जानी है इसका
नहीं घमंड हम करते
होते है जब जेब मे पैसे तो
नेक काम हम भी कई कर देते है
रखो संभाल कर कुछ पैसे
बुरे वक्त के लिये
ऐसा बजुर्ग हमारे कहते है ताकि
किसी के आगे ना कभी हाथ
फैलाना पड़े
चादर हो जितनी उतने ही पैर
पसारो तुम
लेकर के कर्ज़ा कभी ना अपने
शौक पूरे करो तुम
वरना हर वक्त रो रो कर लोगो के
सामने हाथ पसारोगे तुम
दुनिया तुम पर हँसेगी और हर
पल ताने मारेगी
अपने बज़ुर्गों की इस सीख को
हमने है गांठ बांध लिया
जेब को फटने से पहले ही
उसको है सी लिया