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Padma Motwani

Inspirational

4.0  

Padma Motwani

Inspirational

औरत

औरत

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200


औरत अकेली नहीं

उसकी शक्ति उसके साथ है।

गली के जिस मोड़ पर पाया उसे

अपनों का इंतज़ार उसके साथ है।

ठोकर खाकर गिरी जहां पर

उसका बुलंद हौसला उसके साथ है।

जब थकी हारी पड़ती बिस्तर पर

थकावट नहीं संतुष्टि का भाव उसके साथ है।

रंगबिरंगी दुनिया की कशमकश में

सुनहरे सप्तरंगी सपने उसके साथ हैं।

धन्यवाद करती ईश्वर से खुशी खुशी

नाज़ है उसे कि स्त्रीत्व उसके साथ है।

औरत अकेली नहीं

उसकी शक्ति उसके साथ है।I


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