POET BY CHANCE
आज भी खून की नदी में नहाया सूरज ,आज फिर उसकी रोशनाई में जमा खून है ,रूह सब एक ही रंग में ढल जाते हैं... आज भी खून की नदी में नहाया सूरज ,आज फिर उसकी रोशनाई में जमा खून है ,रूह सब एक ही...